tag:blogger.com,1999:blog-77027477364182940.post7448088775466403763..comments2023-09-15T15:06:12.957+05:30Comments on हिंदी में मस्ती: आज की नारीNirbhay Jainhttp://www.blogger.com/profile/01833250769620607438noreply@blogger.comBlogger2125tag:blogger.com,1999:blog-77027477364182940.post-37353924222069425302009-09-07T07:42:28.945+05:302009-09-07T07:42:28.945+05:30भाई निर्भय जी ,नारी इतनी बेचारी नहीं है ,
लेकिन आप...भाई निर्भय जी ,नारी इतनी बेचारी नहीं है ,<br />लेकिन आपसे मेरे कई निवेदन हैं जिन्हें मैं काफी दिनों से कहना चाह रही हूँ ,मगर आपके यहाँ से बार -बार खराब मूड लेकर बिना कुछ कहे ही चली जाती हूँ<br />१ - हिन्दी मैं मस्ती का अर्थ समझ में नहीं आता ,इसे हिन्दी में मस्ती लिखा होता तो कितना अच्छा लगता २- गर्दू गाफिल जी से ज़रा रचनाएं त्रुटी-हीन करवाकर प्रकाशित करते <br />३- हिन्दी साहित्य में सर्जना का एक ऊंचा स्टार है ,वहाँ तक नहीं पहुँच सकते तो उसके आस-पास रहने की कोशिश करते <br />देखिये अपनी शिकायत मैंने सिर्फ इसलिए दर्ज करायी है ताकि आने वाली पीधिया ये कह कर हमें न कोसें की हिन्दी साहित्य का astar गिरते हुए देख कर भी हम मूक -दर्शक बने रहेalka mishrahttps://www.blogger.com/profile/01380768461514952856noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-77027477364182940.post-57710059069077875052009-09-07T05:34:49.466+05:302009-09-07T05:34:49.466+05:30बहुत सुन्दरता से चित्रण किया है, बधाई.बहुत सुन्दरता से चित्रण किया है, बधाई.Udan Tashtarihttps://www.blogger.com/profile/06057252073193171933noreply@blogger.com