दोस्ती की बेजोड़ मिसाल हो तुम

दोस्ती की बेजोड़ मिसाल हो तुम
न है कोई कमी लाज़बाब हो तुम
नही कोई ऐसा मेरे "दोस्त" जैसा
दोस्तों की एक अलग पहचान हो तुम
तुम से बात हो मुझे सुकून मिलता है
जाते हो कंही तो बेजान कर जाते हो तुम.
नही करता मन तुमसे दूर होने का एक पल
मजबूरियों से घिरी बहुत परेशान हो तुम
प्यार तो देखा है ज़माने का मैंने.
दोस्ती मैं मुहब्बत की एक अलग पहचान हो तुम
तुम्हारी दोस्ती ने ही एक बेजान को जानदार बनाया
गिरते हुए दोस्त को संभालना सिखाया.
नही चुका पाउँगा कभी दोस्ती का क़र्ज़
कितने प्यार से निभाया तुमने दोस्ती का फ़र्ज़.
गिरते हुए हालत मे मेरे मददगार हो तुम
दोस्ती क्या होती है इस बात से भी खबरदार हो तुम.

कहते हैं तारे गाते हैं!

कहते हैं तारे गाते हैं!
सन्नाटा वसुधा पर छाया,
नभ में हमने कान लगाया,
फिर भी अगणित कंठों का
यह राग नहीं हम सुन पाते हैं!
कहते हैं तारे गाते हैं!
स्वर्ग सुना करता यह गाना,
पृथिवी ने तो बस यह जाना,
अगणित ओस-कणों से
तारों के नीरव आँसू आते हैं!
कहते हैं तारे गाते हैं!
ऊपर देव तले मानवगण,
नभ में दोनों गायन-रोदन,
राग सदा ऊपर को उठता,
आँसू नीचे झर जाते हैं!
कहते हैं, तारे गाते हैं!
-हरिवंश राय बच्‍चन

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